भैंस की गर्मी से तकरार – काले रंग का कमाल या बवाल?
🤔 कहानी की शुरुआत...
आपने कभी सोचा है?
"गर्मी में काला कपड़ा तो गरम हो जाता है,
तो फिर भैंस जो पूरी की पूरी काली है — उसे तो बहुत ज़्यादा गर्मी लगती होगी!"
और आपका सोचना बिलकुल सही है!
भैंस को सच में गर्मी ज़्यादा लगती है, और उसके पास उसका देसी तरीका है ठंडा रहने का।
🔥 काला रंग = ज़्यादा गर्मी
भैंस की चमड़ी और बाल गहरे काले होते हैं।
अब जैसे हमने पिछले पोस्ट में जाना —
काला रंग सूरज की सारी किरणों को सोख लेता है।
तो जब भैंस धूप में खड़ी होती है, तो वो मानो कह रही हो:
"सूरज दादा! और कितनी गर्मी दोगे?" ☀️🔥
🛁 लेकिन भैंस भी जुगाड़ू है!
भैंस ने गर्मी से बचने का अपना तरीका खोज लिया है:
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कीचड़ में बैठ जाती है – जैसे AC ऑन कर लिया हो 😎
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पानी में घंटों पड़ी रहती है – बिल्कुल जैसे हम नहर में नहाते हैं गर्मी में!
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कीचड़ उसके शरीर को ठंडा भी रखता है और मच्छरों से भी बचाता है।
मतलब:
भैंस = नेचर की कूल-कूल क्वीन! 👑❄️
🧠 तो क्या सीखा?
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काला रंग गर्मी ज़्यादा सोखता है।
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भैंस को सच में ज़्यादा गर्मी लगती है।
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लेकिन भैंस अपनी ठंडी दुनिया खुद बना लेती है – बिना बिजली बिल के!
🐃 नतीजा: भैंस सिर्फ दूध ही नहीं देती, गर्मी से लड़ने की सीख भी देती है!
तो अगली बार जब आप भैंस को कीचड़ में बैठे देखें, तो कहिए:
"वाह री भैंस! तू तो ठंडी ठंडी सोच की रानी है!" 😄❄️
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